मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना के बजट और वित्तीय प्रावधानों को मिली मंजूरी, जानिए कैबिनेट ने और क्या लिए फैसले

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान

Madhya Pradesh News: चुनावी साल में शिवराज सिंह चौहान सरकार ने वादे और योजनाओं की झड़ी लगा दी है। इसी क्रम में मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) कैबिनेट ने मंगलवार को कई अहम फैसले लिए हैं।

सरकार ने अब मंदिरों की कृषि भूमि की आय से पुजारियों को अपनी जीविका चलाने की अनुमति दे दी है। इसी तरह मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना-2023 के बजट और वित्तीय प्रावधानों को भी कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है।

भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रभारी आशीष अग्रवाल ने बताया कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की कैबिनेट ने फैसला किया है कि पुजारी अब सरकार द्वारा संधारित 10 एकड़ तक की कृषि भूमि से होने वाली आय का उपयोग कर सकेंगे।

इसी प्रकार 10 एकड़ से अधिक भूमि होने पर 10 एकड़ तक की आय पुजारी अपने पास रखेगा। बाकी जमीन को खेती के लिए नीलाम किया जाएगा और पैसा मंदिर के खाते में ट्रांसफर किया जाएगा। कैबिनेट ने मंदिर की जमीन को अतिक्रमण मुक्त करने के लिए अभियान चलाने का भी फैसला किया है।

सीएम शिवराज सिंह चौहान ने किया ऐलान

पिछले साल मध्यप्रदेश शासन के धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व विभाग ने भी पुजारियों को बढ़ा हुआ मानदेय देने के आदेश जारी किए थे। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने घोषणा की थी कि जिन मंदिरों और पुजारियों के पास कृषि भूमि नहीं है।

उन मंदिरों और पुजारियों को हर महीने 5 हजार रुपए मानदेय दिया जाएगा। इसी तरह जिन मंदिरों के पास 5 एकड़ कृषि भूमि है, उनके पुजारियों को सरकार 2500 रुपए प्रतिमाह मानदेय देगी। वहीं 10 एकड़ से अधिक कृषि भूमि वाले मंदिरों के पुजारियों को अलग से वेतन नहीं दिया जाएगा।

लाड़ली बहना योजना के बजट की स्वीकृति

उधर, गृह मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना के तहत सरकार ने 500 रुपये की आर्थिक सहायता देने का निर्णय लिया है। छह महीने के लिए राज्य की महिलाओं को 1,000। योजना के समयबद्ध क्रियान्वयन की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना-2023 के बजट एवं वित्तीय प्रावधानों को मंत्रिपरिषद ने स्वीकृति प्रदान कर दी है।